Food Security Yojana खाद्य सुरक्षा योजना से नाम हटाने का अंतिम मौका 31 जनवरी, इस तिथि के बाद शुरू हो जाएगी कार्रवाई
राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा मिशन में पांच किलो गेहूं निशुल्क लेने के पात्र होने के बावजूद सरकारी योजना का लाभ नहीं ले रहे राशन कार्ड धारकों की छंटनी शुरू कर दी गई। जिला रसद विभाग ने झुंझुनूं व सीकर जिले के करीब तीन हजार आठ सौ राशन कार्डधारकों को खाद्य सुरक्षा मिशन से बाहर कर दिया।
झुंझुनूं जिले में अब तक 487 राशन कार्ड तथा 1905 व्यक्तियों के खाद्य सुरक्षा योजना से नाम हटाए गए
सीकर में अब तक 401 राशन कार्ड आवेदनों पर 1852 सदस्यों लोगों ने स्वेच्छा अपना नाम खाद्य सुरक्षा योजना से हटाया है।
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जिला रसद अधिकारी ने बताया कि खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग, जयपुर द्वारा राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम 2013 के तहत GIVE-UP अभियान चल रहा है। विभागीय निर्देशानुसार इस अभियान के तहत राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा में चयनित सक्षम परिवार अपना नाम स्वेच्छा से 31 जनवरी 2025 तक हटवा सकते है। खाद्य सुरक्षा योजना में चयनित सक्षम परिवारों द्वारा निर्धारित समयावधि में स्वेच्छा से अपना नाम नहीं हटवाने पर अपात्र परिवारों से बाजार दर से वसूली करते हुए दण्डात्मक कार्यवाही भी की जाएगी।
खाद्य सुरक्षा योजना में अपात्र परिवार
GIVE-UP अभियान के दौरान ऐसे व्यक्ति, परिवार जिसमें कोई आयकरदाता हो, परिवार जिसका कोई सदस्य सरकारी,अर्द्ध सरकारी, स्वायत्तशासी संस्थाओं में कर्मचारी, अधिकारी हो, एक लाख से अधिक वार्षिक पारिवारिक आय हो, परिवार में किसी सदस्य के पास चार पहिया वाहन हो (ट्रेक्टर आदि जिविकोपार्जन में प्रयुक्त वाहन छोड़कर), उन्हें अपने क्षेत्र में संबंधित उचित मूल्य दुकानों पर सम्पर्क कर नाम हटाने के लिए आवेदन पत्र भरकर देना होगा। उपभोक्ताओ के द्वारा स्वेच्छा से खाद्य सुरक्षा से नाम हटाने के लिए भरे गये फॉर्म को संबंधित सक्षम प्राधिकृत अधिकारी के स्तर से नाम हटाये जा सकेंगे।
दूसरे पात्रों को मिलेगी जगह
एक या दो साल से एनएफएस के तहत मुफ्त अनाज नहीं ले रहे थे। विभाग ने निष्क्रिय मान सरकार को रिपोर्ट भेजी थी। तीन हजार से अधिक राशन कार्ड निरस्त हुए हैं। अब पोर्टल खुलने पर राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा मिशन में दूसरे पात्रों को जगह मिलेगी। गिव अप अभियान के तहत 31 जनवरी तक आवेदन कर सकते हैं।
दो महीने में करीब 7 लाख नाम हटाए गए
पिछले दो महीने में विभाग ने करीब 7 लाख लोगों के नाम खाद्य सुरक्षा योजना की लाभार्थी सूची से हटाए हैं। सर्वाधिक 71,932 व्यक्तियों के नाम अलवर जिले में हटाए गए हैं। सर्वाधिक नाम हटाए जाने वाले जिलों में दूसरे स्थान पर जयपुर है। जहां 41,806 लोगों के नाम हटाए गए। तीसरे स्थान पर उदयपुर रहा, जहां 40314 व्यक्तियों के नाम लाभार्थी सूची से बाहर किए गए। 1 नवंबर 2024 से लेकर 3 जनवरी 2025 तक कुल 6 लाख 54 हजार 589 व्यक्तियों के नाम हटाए गए हैं।
खाद्य सुरक्षा योजना से 10 लाख नए परिवारों को जोड़ेगी सरकार
जयपुर | भजनलाल सरकार ने प्रदेश में बंद पड़े खाद्य सुरक्षा योजना के पोर्टल को शुरू करने का निर्णय किया है। राज्य में करीब 10 लाख आवेदन पहले ही लंबित पड़े हैं। इसके अलावा 50 लाख से अधिक परिवारों ने अभी ई-केवाईसी भी नहीं करवाई है। ऐसे में पोर्टल दोबारा खुलने से इन लाखों परिवारों को राहत मिलना तय है। जिन लोगों ने पहले से ही आवेदन कर रखा है, उन्हें दोबारा आवेदन करने की जरूरत नहीं होगी।
सरकार उन्हें लंबित मानते हुए उनकी पात्रता जांच कर योजना में शामिल कर सकेगी। जिन 50 लाख लोगों ने ई-केवाईसी नहीं करवाई है, फिलहाल इन्हें योजना से हटाया नहीं गया है, लेकिन इनका खाता सस्पेंड कर दिया गया है। इन परिवारों को 31 मार्च तक ई-केवाईसी कराने की मोहलत दी गई है। जनसंख्या के तय अनुपात के हिसाब से राजस्थान में 4 करोड़ 46 लाख लोगों के ही नाम जोड़े जा सकते हैं। फिलहाल राजस्थान में 4 करोड़ 36 लाख लोगों को योजना का लाभ मिल रहा है। यानी राज्य सरकार अब भी 10 लाख और लोगों को योजना में जोड़ सकती है।
इन परिवारों को मिलेगा लाभ
अंत्योदय परिवार, बीपीएल और अन्नपूर्णा योजना के लाभार्थी परिवार, विधवा, वृद्धजन, विशेष योग्यजन, एकल नारी की सभी पेंशन योजनाओं से जुड़े लोग